about gurjars origin by dr sushil bhati
गुर्जरों की कुषाण उत्पत्ति का सिद्धांत डा. सुशील भाटी Key Words - Kushan, Koshano, kasana, Gusura, Gasura, Gosura, Gurjara, Bhinmal, Bactrian, Gujari I आधुनिक कसाना ही ऐतिहासिक कुषाण हैं| अलेक्जेंडर कनिंघम ने आर्केलोजिकल सर्वे रिपोर्ट , खंड IV, 1864 में कुषाणों की पहचान आधुनिक गुर्जरों से की है | वे कहते हैं कि पश्चिमिओत्तर भारत में जाटो के बाद गुर्जर ही सबसे अधिक संख्या में बसते हैं इसलिए वही कुषाण हो सकते हैं| अपनी इस धारणा के पक्ष में कहते हैं कि आधुनिक गुर्जरों का कसाना गोत्र कुषाणों का प्रतिनिधि हैं| अलेक्जेंडर कनिंघम बात का महत्व इस बात से और बढ़ जाता है कि गुर्जरों का कसाना गोत्र क्षेत्र विस्तार एवं संख्याबल की दृष्टि से सबसे बड़ा है। कसाना गौत्र अफगानिस्तान से महाराष्ट्र तक फैला हुआ है और भारत में केवल गुर्जर जाति में मिलता है। गुर्जरों के अपने सामाजिक संगठन के विषय में खास मान्यताएं प्रचलित रही हैं जोकि उनकी कुषाण उत्पत्ति की तरफ स्पष्ट संकेत कर रही हैं| एच. ए. रोज के अनुसार यह सामाजिक मान्